मोहब्बत है गर तो मिज़ाज ज़रा नर्म रखिये

मोहब्बत है गर तो मिज़ाज ज़रा नर्म रखिये

मोहब्बत है गर तो मिज़ाज ज़रा नर्म रखिये...
ज़िद्दी होने से इश्क़-ऐ-सुकून में ख़लल पड़ता है...!!


Mohabbat hai gar to mizaaj zara narm rakhiye...
Ziddee hone se ishq-ai-sukoon mein khalal padata hai...!!