क्या भरोसा करे आज कल के नेताओं पर

क्या भरोसा करे आज कल के नेताओं पर

क्या भरोसा करे आज-कल के नेताओं पर
ये तो अब जनता को भरमाने लगे हैं,
नेता इतने रंग बदलते हैं
कि गिरगिट भी शर्माने लगे हैं.


Kya bharosa kare aaj-kal ke netaon par
Ye to ab janata ko bharamaane lage hain,
Neta itane rang badalate hain
Ki giragit bhee sharmaane lage hain.