कहने को लफ्ज दो हैं उम्मीद और हरसत

कहने को लफ्ज दो हैं उम्मीद और हरसत

कहने को लफ्ज दो हैं उम्मीद और हरसत,
लेकिन निहां इसी में दुनिया की दास्तां है।


Kahne Ko Lafz Do Hain Ummid Aur Harsat,
Lekin Nihaan Isi Mein Duniya Ki Daastan Hai.