मुझे ही नहीं रहा शौक़ ए मोहब्बत वरना Mohit / Jan 31, 2022 मुझे ही नहीं रहा शौक़ ए मोहब्बत वरना मुझे ही नहीं रहा शौक़-ए-मोहब्बत वरना तेरे शहर की खिड़कियाँ इशारे अब भी करती हैं। Mujhe hee nahin raha shauq-e-mohabbat varana Tere shahar kee khidakiyaan ishaare ab bhee karatee hain. Shayari Love Shayari Shahar Shayari